परिचय
      
        D.El.Ed (BSTC/JBT) या किसी भी कोर्स की काउंसलिंग के बाद सबसे बड़ा सवाल होता है – “अब क्या?”
        सीट अलॉटमेंट क्या होता है, इसका मतलब क्या है, और आगे कौन-कौन से स्टेप्स होते हैं? यहाँ पूरी प्रक्रिया आसान भाषा में समझाई गई है।
      
      काउंसलिंग के बाद सीट अलॉटमेंट क्या है?
      
        - काउंसलिंग के दौरान छात्र अपनी पसंद के कॉलेज और कोर्स की चॉइस भरते हैं।
 
        - कॉलेज/बोर्ड की तरफ से मेरिट, रिजर्वेशन, और चॉइस के आधार पर सीट अलॉटमेंट लिस्ट निकाली जाती है।
 
        - सीट अलॉटमेंट का मतलब: आपको काउंसलिंग के बाद किस कॉलेज और कोर्स में सीट मिली है, इसका ऑफिशियल अलॉटमेंट लेटर मिलता है।
 
      
      सीट अलॉटमेंट के बाद आगे क्या करें?
      
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          सीट कन्फर्मेशन और फीस जमा:
          अलॉटमेंट के बाद आपको तय समय (जैसे 3-5 दिन) में कॉलेज या पोर्टल पर फीस जमा करनी होती है।
          अगर फीस समय पर नहीं भरी, तो सीट कैंसिल हो सकती है।
         
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          डॉक्युमेंट वेरिफिकेशन:
          कॉलेज या बोर्ड द्वारा मांगे गए सभी डॉक्युमेंट्स (जैसे मार्कशीट, डोमिसाइल, आय/जाति प्रमाण पत्र, फोटो आदि) लेकर जाएं।
          डॉक्युमेंट वेरिफिकेशन के बाद ही एडमिशन कन्फर्म होता है।
         
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          रिपोर्टिंग:
          कन्फर्मेशन के बाद आपको निर्धारित तारीख तक कॉलेज में जाकर रिपोर्ट करना होता है।
          रिपोर्टिंग ना करने पर सीट आगे दूसरे छात्र को दी जा सकती है।
         
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          अपग्रेडेशन (अगर हो तो):
          अगर आपको अपनी पसंद का कॉलेज/कोर्स नहीं मिला, तो आप अगले राउंड/अपग्रेडेशन के लिए भी अप्लाई कर सकते हैं। अगले राउंड में सीट मिल सकती है।
         
      
      सीट अलॉटमेंट में आम सवाल-जवाब
      
        Q. अगर सीट अलॉट नहीं हुई तो?
        A. अगले राउंड या अपग्रेडेशन में चांस रहता है, दोबारा चॉइस फिलिंग करें।
        Q. अगर अलॉटमेंट के बाद फीस नहीं भरी?
        A. सीट कैंसिल हो जाएगी, और अगले राउंड में ही चांस मिलेगा।
        Q. अलॉटमेंट लेटर कहां से मिलेगा?
        A. ऑफिशियल पोर्टल पर लॉगिन कर के डाउनलोड करें।